संवरेगा पुराना वल्लभ भवन
भोपाल । वल्लभ भवन (मंत्रालय) में आगजनी की घटना दोबारा न हो, इसके लिए बड़े स्तर पर इसको सुरक्षित बनाने की तैयारी सरकार ने कर ली है। इसके लिए लोक…
भोपाल । वल्लभ भवन (मंत्रालय) में आगजनी की घटना दोबारा न हो, इसके लिए बड़े स्तर पर इसको सुरक्षित बनाने की तैयारी सरकार ने कर ली है। इसके लिए लोक निर्माण विभाग ने 71 करोड़ 35 लाख रुपए का टेंडर जारी किया गया है। इसमें कुल राशि का बड़ा हिस्सा इलेक्ट्रिक वर्क पर खर्च किया जाएगा। इलेक्ट्रिक वर्क में आर्क फॉल्ट सर्किट इंटरप्टर्स (एएफसीआई) तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा और सर्किट ब्रेकर भी बढ़ाए जाएंगे। वहीं भवन में नए सिरे से सिविल और इंटीरियर वर्क भी किया जाएगा। इसके साथ यहां लिफ्ट बदलने, अलार्म सिस्टम लगाने, सेंट्रल एसी सिस्टम तैयार करने, सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट, वॉटर हार्वेस्टिंग का काम भी किया जाएगा। पुराने वल्लभ भवन में लगे सीसीटीवी की संख्या बढ़ाई जाएगी और कमांड एंड कंट्रोल रूम को अपग्रेड किया जाएगा। जिस फ्लोर पर आगजनी हुई है, उसका नए सिरे से निर्माण होगा। कामन एरिया का इंटीरियर भी बदला जाएगा।
गौरतलब है कि वल्लभ भवन की पुरानी बिल्डिंग में आग लगने के बाद से ही उसको संवारने की प्लानिंग होने लगी थी। अब लोक निर्माण विभाग वल्लभ भवन बिल्डिंग के उस हिस्से का रेनोवेशन व उन्नयन कराने जा रही है, जो आग लगने की घटना में 5 वें फ्लोर का आधा से ज्यादा हिस्सा व अन्य फ्लोर का हिस्सा जलकर खाक हो गया था। इसके लिए 71 करोड़ 35 लाख रुपए का टेंडर जारी किया गया है। इसके साथ ही साथ भोपाल परिक्षेत्र की सडक़ों पर थीन ह्वाइट टॉपिंग भी कराने का निर्णय लिया गया है। इस पर करीब 98 करोड़ 71 लाख रुपए से अधिक की राशि खर्च होगी।
मार्च में लगी थी आग
उल्लेखनीय है कि इसी वर्ष 9 मार्च को वल्लभ भवन की पुरानी बिल्डिंग के पांचवें फ्लोर पर अचानक आग लगने की घटना हुई थी। इस घटना की जांच के लिए उच्च स्तरीय कमेटी का गठन किया गया। एक महीने बाद इसकी विस्तृत जांच रिपोर्ट भी आ गई। जांच में ज्यादा कुछ नहीं निकला, महज शार्ट सर्किट से आग लगने की जांच रिपोर्ट के बाद मामले में लीपापोती कर दी गई। किसी जिम्मेदार पर कोई कार्रवाई भी नहीं हुई। जांच रिपोर्ट में ऐसा कुछ भी नहीं दिया गया, जिसमें उससे सबक लिया मा सके। आग लगने की घटना के बाद से इसके रेनोवेशन का काम चल रहा है। अब तक में करोड़ों रुपए का खर्च किया जा चुका है। काफी कुछ काम हो भी चुका है। पीडब्ल्यूडी के इंजीनियरों की देखरेख में पूरा काम चल रहा है। पीडब्ल्यूडी ने फिर से इसके रेनोवेशन खासकर विद्युतीकरण, फायर फायटिंग कार्य, आंतरिक फनीशिंग आदि कार्य के लिए टेंडर जारी किया है। कुल 71.35 लाख रुपए का टेंडर जारी किया गया है। इसमें और बढ़ोतरी संभावित है। चूंकि पीब्डब्ल्यूडी ने पहले ही टेंडर में ही लिख दिया है कि टेंडर में कई तरह की शर्ते दी गई है। रेनोवेशन व साज सज्जा की जिम्मेदारी भोपाल संमाग-दो को दी गई है। टेंडर डालने की समयसीमा 18 अक्टूबर तय की गई है।
सडक़ों पर होगा थीन व्हाइट टॉपिंग
पीडब्ल्यूडी भोपाल संभाग की सडक़ों पर थीन व्हाइट टॉपिंग कराने जा रही है। पीडब्ल्यूडी का कहना है कि इससे सडक़ें मजबूत होगी, इससे बारिश आदि के दौरान जल्दी खराब भी नहीं होगी। पीडब्ल्यूडी इस पर 98 करोड़ 71 लाख रुपए खर्च करेगी। इससे आधा दर्जन सडक़ों का काम हो सकेगा। इनं सडक़ों पर थीन व्हाइट टॉपिंग के लिए टेंडर जारी कर दिया गया है। ठेकेदारों को स्पष्ट किया गया है कि इससे संबंधित कार्य वेबसाइट में दिए गए विवरण के अनुसार होंगे। इसमें और भी बढ़ोतरी संभावित है, हालांकि इसकी जानकारी वेबसाइट पर ही दी जाएगी। विभाग का दावा है कि इस तकनीक में करीब 20 साल तक सडक़ें खराब नहीं होंगी और सरकार का हर साल के मेंटेनेंस का खर्चा भी बचेगा। इस बार प्रदेश में बारिश की वजह से ज्यादा सडक़ें खराब हुई थी। विभाग भोपाल जैसे ऐसे शहरों को चिह्नित कर रहा है, जहां कि सडक़ें पानी की वजह से खराब होती हैं और उसमें गड्ढे हो जाते हैं। लेकिन, यह सडक़ें धंसती नहीं हैं। व्हाइट टॉपिंग का उपयोग ऐसी ही सडक़ों पर किया जाना है।